नैनीताल : उत्तराखंड में निकाय चुनाव को लेकर राज्य निर्वाचन आयोग और प्रदेश सरकार के बीच तनातनी चल रही है. मामले में राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से हाईकोर्ट में दायर याचिका की सुनवाई मंगलवार (8 मई) को पूरी हो गई. 8 मई को हुई मामले की सुनवाई के बाद हाईकोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया है. अब मामले की अगली सुनवाई 14 मई के लिए निर्धारित की गई है. माना जा रहा है कि हाईकोर्ट 14 मई को मामले में अपना फैसला सुना देगा. इससे पहले 4 मई को हुई मामले की सुनवाई में हाईकोर्ट ने टिप्पणी की थी कि अनुच्छेद 243(थ) के तहत परिसीमन के मापदंड सरकार द्वारा अधिसूचित किए गए हैं. इसके तहत गांवों को नगर पालिकाओं और नगर निगमों में शामिल किया जा रहा है. हाईकोर्ट ने प्रदेश सरकार से इस पर जवाब मांगा था.
बता दें कि पिछले कुछ महीनों से प्रदेश सरकार और राज्य निर्वाचन आयोग के बीच उत्तराखंड में नगर निकाय चुनाव को लेकर गहमागहमी चल रही है. राज्य निर्वाचन आयोग का कहना है कि प्रदेश सरकार जानबूझकर निकाय चुनावों में देरी कर रही है. 4 अप्रैल को राज्य निर्वाचन आयुक्त सुबर्द्धन शाह ने प्रेस कांफ्रेंस करके सरकार पर आरोप लगाया था कि मामले पर चर्चा के लिए मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने उन्हें मिलने का समय नहीं दिया. शाह ने दावा किया था कि निकाय चुनाव को लेकर उन्होंने मुख्यमंत्री रावत से मिलने के लिए जुलाई 2017 में समय मांगा था. इसके बावजूद अभी तक उनकी मुलाकात मुख्यमंत्री से नहीं हो पाई है. इसी कारण स्थानीय निकाय चुनाव को लेकर राज्य निर्वाचन आयोग हाईकोर्ट तक पहुंचा. आयोग ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल कर राज्य में समय से निकाय चुनाव कराने की मांग की है. मामले में 16 अप्रैल को भी सुनवाई हो चुकी है.
4 अप्रैल को उत्तराखंड सरकार के प्रवक्ता और कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक ने प्रेस कांफ्रेंस करके सरकार पर लग रहे सभी आरोपों को निराधार बताया था. उन्होंने दावा किया था कि सरकार ने निकाय चुनाव को लेकर हर स्तर पर अपनी तैयारी की है. कौशिक ने यह भी कहा था कि राज्य निर्वाचन आयुक्त की सीएम त्रिवेंद्र रावत से लंबी बातचीत हुई है. इससे पहले अधिकारी भी लगातार राज्य निर्वाचन आयोग के साथ बैठक करते रहे हैं. भाजपा निकाय चुनाव को लेकर अपने उम्मीदवारों की सूची तैयार करने में जुटी हुई है. सभी जिलों में निकाय चुनाव को लेकर संभावित उम्मीदवारों की सूची तैयार की जा रही है. सूची तैयार हो जाने के बाद चुनाव कमेटी को उसे सौंप दिया जाएगा. हर सीट पर पार्टी दमदार उम्मीदवार की तलाश कर रही है.