पुलिस के अनुसार पकड़ा गया बांग्लादेशी नागरिक आलोक मुखर्जी(19) पुत्र अजय मुखर्जी मूल रूप से ग्राम सुड्डाग्राम थाना व जिला -जसोर, बांग्लादेश का रहने वाला हैं। जो फर्जी दस्तावेज बनाकर मुकुल मंजुमदार नाम के डॉक्टर के घर पर रह रहा था। पुलिस और इंटेलिजेंस टीम को जब इस बात की सूचना मिली तो पूरे महकमे में हड़कंप मच गया। पुलिस टीम ने कार्रवाई करते हुए दून के सहसपुर में अवैध तरीके से रह रहे बांग्लादेशी नागरिक आलोक मुखर्जी और पनाह देने वाले डॉ0 मुकुल मजूमदार को गिरफ्तार कर लिया है।
पुलिस ने बताया कि डॉक्टर मजूमदार द्वारा ही बांग्लादेशी नागरिक को पहले अपने यहां पनाह दी गई जिसकी सूचना स्थानीय पुलिस व विदेशी पंजीकरण कार्यालय को नहीं दी गई। इतना ही नहीं सहसपुर क्षेत्र में रहने वाले डॉक्टर मजूमदार द्वारा एक षड्यंत्र के तहत बांग्लादेशी नागरिक के फर्जी दस्तावेजों के आधार पर भारत का आधारकार्ड बनवाने के अपराध भी किया गया।
बता दें कि शहर में पुलिस द्वारा सत्यापन अभियान चलाया जा रहा हैं। इसी कड़ी में सत्यापन में जुटी इंटेलीजेंस टीम को थाना सहसपुर क्षेत्र के अंतर्गत -ग्राम भगवानपुर से एक बांग्लादेशी युवक आलोक मुखर्जी को वीजा अवधि समाप्त होने के बाद भी भारत मे अनाधिकृत तरीके से निवास करने व फर्जी दस्तावेजों की जानकारी मिली थी। जिसके बाद पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए कार्रवाई की।